UP News: उत्तर प्रदेश के इटावा में हुए कथावाचक वाले विवाद पर यूपी की सियासी हलचल तेज. राजनेताओं के साथ इस मामले पर साधु-संतों की भी प्रतिक्रियाएं आ रही हैं. इसी क्रम में अब इटावा कथावाचक वाले विवाद पर जगद्गुरु परमहंस आचार्य महाराज ने समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव पर माहौल बिगाड़ने का आरोप लगाया है.
इटावा कथावाचक वाले विवाद पर जगद्गुरु परमहंस आचार्य महाराज ने कहा यह अत्यंत दुखद है जो उत्तर प्रदेश का पूर्व मुख्यमंत्री हो और समाजवादी पार्टी का मुखिया, जिस तरह से उन्होंने माहौल को बिगाड़ा. इटावा में दो कथावाचक जो अपना पहचान छिपाकर, दो आधार कार्ड बनवाकर छल-कपट पूर्वक कथा कर रहे थे. उन लोगों ने महिलाओं से अभद्रता की और महिलाओं ने शिकायत की तो लोगों को शंका हुई कि कथावाचक तो ऐसा नहीं कर सकते. जब छानबीन हुई तो उनका दो आधार कार्ड निकला.
उन्होंने कहा कि लोगों ने उनका सिर मुंडन करवाया ये गलत है, हालांकि प्रशासन ने लोगों को तुरंत गिरफ्तार किया. अखिलेश यादव ने उन फरार कथावाचकों को ये समझकर कि ये उनके बिरादर का है, उन्होंने 50 हजार देकर सम्मानित किया मतलब ये है कि उन्होंने अपराध को बढ़ावा दिया. इसके बाद वहां पर ब्राह्णणों के खिलाफ मुकदमा हुआ तो कोई ब्राह्णण न तो पथरबाजी करने गया न थाना घेरने गया. लोगों ने कहा कि जो कानून को हाथ में लिया उसे दंड मिलेगा. लेकिन फर्जीवाड़े में कथावाचकों के खिलाफ मुकदमा दर्ज हुआ तो यादवों ने थाने का घेराव किया और पथराव किया. ये सबकुछ अखिलेश यादव के इशारों पर हो रहा है.
जगद्गुरु परमहंस आचार्य ने कहा कि सपा सरकार में गुंडई होती थी और निर्दोषों को सताया जाता था. खुलेआम जमीन लूटी जाती थीं, चारों तरफ बलात्कार होता था और बलात्कारियों को सम्मानित किया जाता था. अब अखिलेश यादव भूल गए हैं कि वह मुख्यमंत्री नहीं हैं, अपराधियों को जो संरक्षण देने की आदत थी वहीं हो रहा है. उन्होंने कहा कि अच्छे-बुरे किसी भी जाति में हो सकते हैं, जो अपराधी है उसे दंड मिलेगा. लेकिन दो चार लोगों के कारण पूरे समाज को घसीटना और पूरे प्रदेश का माहौल खराब करना ये बहुत ही दुखद रहा है. अगर ब्राह्णण भी कह दे कि यादव जो हैं दूध देते हैं पानी मिलाकर बेच रहे हैं हम दूध नहीं लेंगे तो आधे यादव बेरोजगार हो जाएगा.
‘अखिलेश यादव ने माहौल को बिगाड़ा’, इटावा कथावाचक विवाद पर जगद्गुरु परमहंस आचार्य का बयान
1