मेडिकल के पोस्ट ग्रेजुएट कोर्स में दाखिले के लिए होने वाली नीट पीजी परीक्षा अब एक ही शिफ्ट में होगी. सुप्रीम कोर्ट ने छात्रों की इस दलील को सही माना है कि दो पाली में परीक्षा करवाने में इस बात की आशंका रहेगी कि दोनों पालियों में प्रश्न पत्रों की कठिनाई का स्तर अलग होगा. कोर्ट ने नेशनल बोर्ड ऑफ एग्जामिनेशन से कहा है कि वह परीक्षा को एक ही शिफ्ट में करवाने की व्यवस्था करे.
15 जून को होने जा रही नीट पीजी परीक्षा को 2 शिफ्ट में करवाने के खिलाफ कई याचिकाएं दाखिल हुई थीं. इनमें कहा गया था कि अलग-अलग प्रश्न पत्र दोनों पालियों में परीक्षा देने वाले छात्रों को असमान स्थिति में डाल सकते हैं. जस्टिस विक्रम नाथ की अध्यक्षता वाली तीन जजों की बेंच ने इस दलील को सही माना. कोर्ट के कहा कि यह उन छात्रों के लिए भेदभाव भरा होगा जिन्हें दूसरों से कठिन प्रश्न पत्र मिला.
नेशनल बोर्ड ऑफ एग्जामिनेशन (NBE) के लिए पेश वरिष्ठ वकील मनिंदर आचार्य ने दलील दी कि 2024 में नीट यूजी परीक्षा में गड़बड़ियां सामने आई थीं. इसी के समाधान के लिए ऐसी व्यवस्था बनाई गई है. उन्होंने यह भी कहा कि परीक्षा में बहुत कम समय बचा है. अब परीक्षा केंद्रों की व्यवस्था कर पाना कठिन होगा.
जज इन दलीलों से सहमत नहीं हुए. उन्होंने कहा कि इस नीट पीजी में सिर्फ 2.5 लाख परीक्षार्थी हैं. इससे बहुत ज्यादा परीक्षार्थियों वाली परीक्षाएं भी एक शिफ्ट में आयोजित होती हैं. कोर्ट ने कहा कि एक ही शिफ्ट में परीक्षा आयोजित करने के लिए केंद्रों की संख्या बढ़ाई जाए. अगर जरूरी हो तो परीक्षा की तारीख आगे बढ़ाने के लिए बोर्ड कोर्ट में आवेदन दाखिल कर सकता है.