केरल के पलक्कड़ जिले में निपाह वायरस से रविवार (13 जुलाई, 2025) को दूसरी मौत हो गई. मौत के बाद जब सैंपल की जांच हुई, तब जाकर वजह सामने आई. निपाह वायरस की चपेट में राज्य में अब तक कुल 675 लोग आ चुके हैं. इनमें से सबसे ज्यादा पलक्कड़ जिले में निपाह वायरस के मरीज पाए गए हैं, केरल के स्वास्थ्य मंत्री वीजा जॉर्ज ने इस बात की जानकारी दी.
इलाज के दौरान हुई मरीज की मौत
उनके अनुसार, केरल के मलप्पुरम में 210, पलक्कड़ में 347, कोझिकोड में 115, एर्नाकुलम में 2 और त्रिशूर में 1 मरीज मिले हैं. पलक्कड़ के मन्नारक्कड़ इलाके में एक 50 वर्षीय व्यक्ति को सांस लेने में दिक्कत होने लगी और अस्पताल में इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई. जांच में ये पाया गया कि शख्स निपाह संक्रमण से ग्रसित था. इससे पहले केरल में निपाह वायरस की चपेट में आने से मलप्पुरम में पहली मौत हुई थी.
स्वास्थ्य विभाग ने बताया कि अभी इस वायरससे ग्रसित मलप्पुरम के एक मरीज का इलाज आईसीयू में चल रहा है. वहीं पलक्कड़ में 12 मरीजों को आइसोलेशन वॉर्ड में रखा गया है और 5 मरीज को ठीक भी किया जा चुका है.
केरल के इन 6 जिलों में हाई अलर्ट
निपाह वायरस से हुई मौतों के बाद केरल के 6 जिलों, पलक्कड़, मलप्पुरम, कोझीकोड, त्रिशूर, कन्नूर और वायनाड में हाई अलर्ट घोषित कर दिया गया है और स्वास्थ्य विभाग तेजी से जांच की प्रक्रिया को आगे बढ़ा रही है. अब केरल के मलप्पुरम में मास्क पहनना फिर से अनिवार्य कर दिया गया है. स्वास्थ्य विभाग ने अस्पतालों में भीड़भाड़ वाली जगहों से बचने की सलाह दी है. वहीं प्रभावित राज्यों को बुखार और इंसेफेलाइटिस के लक्षण पाने पर सूचना देने का आदेश जारी कर दिया गया है.
क्या है ये निपाह वायरल?
WHO यानि विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार, निपाह एक जूनोटिक बीमारी है, जो जानवरों से इंसानों और फिर इंसानों से इंसानों में फैलती है. निपाह वायरस से जान गंवाने वाले 2 लोगों के संपर्क में कुल 46 लोग आए थे और यह 46 लोग 543 लोगों के संपर्क में आए थे, जिससे ये वायरल तेजी से फैलने लगा.
ये भी पढ़ें:- शरिया कानून में कैसे काम करती है ब्लड मनी, जिससे बच सकती है निमिषा प्रिया की जान
कहीं मास्क तो कहीं भीड़ से बचने की एडवाइजरी… केरल में निपाह वायरस ने फिर बरपाया कहर; एक और मरीज की मौत
3
previous post