कैथल जिले में पुंडरी के ढांड में स्थित पंचगामा मंदिर के मुख्य महंत श्री राम गिरि महाराज ब्रह्मलीन हो गए है। वे श्री महंत आह्वान अवान अखाड़ा के दुधाधारी बाबा के रूप में जाने जाते थे। महंत लंबे समय से बीमार थे। पंचगामा मंदिर पांच गांवों कौल, खेड़ी, साकरा, धेरडू और संगरोली की साझा जमीन पर स्थित मां भगवती का प्रसिद्ध मंदिर है। 87 वर्षीय महंत जी पिछले 35 वर्षों से केवल दूध का सेवन कर जीवन यापन कर रहे थे। करनाल में चल रहा था इलाज संगरोली गांव के सरपंच प्रतिनिधि जितेंद्र ने बताया कि महंत लंबे समय से बीमार थे। पहले उनका इलाज पटियाला में चल रहा था। बाद में उन्हें करनाल के अमृतधारा हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया। रात दो बजे उन्होंने अंतिम सांस ली। अंतिम दर्शन के लिए श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ी महंत को मां भगवती मंदिर में ही भू-समाधि दी जाएगी। उनके शरीर को जमीन के अंदर शवासन या पद्मासन की मुद्रा में रखा जाएगा। इस प्रक्रिया में पंचगांव के लोग और सरपंच सहयोग कर रहे हैं। मंदिर में महंत के अंतिम दर्शन के लिए श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ रही है। दूर-दराज से साधु-संत भी पहुंच रहे हैं। दोपहर 12 बजे के बाद उनकी भू समाधि की प्रक्रिया होगी।
कैथल में महंत का निधन:35 साल से दूध पर जीवन यापन, लंबे समय से बीमार, अंतिम दर्शन के लिए श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ी
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