चंडीगढ़ जिला अदालत ने एक सेवानिवृत्त कर्मचारी को रिटायरमेंट लाभ नहीं देने पर पंजाब राज्य परिवहन डायरेक्टर के वेतन से जुड़े बैंक खाते को अटैच करने का आदेश दिया है। यह आदेश उस स्थिति में दिया गया जब 7 महीने पहले जारी कोर्ट के निर्देश के बावजूद संबंधित अधिकारी ने आदेश का पालन नहीं किया। यह मामला पंजाब परिवहन विभाग के सेवानिवृत्त कंडक्टर अशोक कुमार से जुड़ा है, जिन्होंने पेंशन और रिटायरमेंट लाभ न मिलने पर चंडीगढ़ जिला अदालत में याचिका दायर की थी। कोर्ट में दायर याचिका के अनुसार, अशोक कुमार पर 2007 में लापरवाही से मौत का कारण बनने के आरोप में मामला दर्ज किया गया था। यह घटना बठिंडा में उस समय हुई थी जब सेना के जवान रघुबीर सिंह बस की छत से अपना सामान उतारने की कोशिश कर रहे थे और अशोक कुमार ड्यूटी पर थे। आरोप है कि कुमार ने चालक को बस स्टार्ट करने का इशारा कर दिया, जबकि सिंह अभी भी छत पर थे। सिंह का संपर्क ओवरहेड बिजली की तारों से हो गया और उनकी मौत हो गई। अदालत ने सुनाई थी एक साल सजा 2012 में बठिंडा की मजिस्ट्रेट अदालत ने कुमार को दोषी ठहराते हुए एक साल की सजा सुनाई थी। हालांकि, 2014 में बठिंडा सत्र न्यायालय ने सबूतों के अभाव में उन्हें बरी कर दिया। इसके बावजूद, विभाग ने पहले ही 2012 में कुमार को सेवानिवृत्त कर दिया था और उनकी पेंशन व अन्य रिटायरमेंट लाभ रोक दिए थे। न्याय की मांग करते हुए कुमार ने चंडीगढ़ में सिविल केस दायर किया, क्योंकि परिवहन विभाग का कार्यालय यहीं स्थित है। दिसंबर 2024 में सिविल जज (सीनियर डिवीजन) ने कुमार के पक्ष में फैसला सुनाते हुए विभाग को सभी लंबित रिटायरमेंट लाभ जारी करने का निर्देश दिया था। कोर्ट ने स्पष्ट किया था कि अब कुमार किसी अपराध के दोषी नहीं हैं, इसलिए उन्हें सभी रोके गए लाभ मिलने चाहिए। सरकारी पक्ष द्वारा आदेश का पालन न किए जाने पर कुमार के वकील डी. आर. कैथ ने कोर्ट में एक्जीक्यूशन पिटीशन दाखिल की। इस पर कार्रवाई करते हुए सिविल जज (सीनियर डिवीजन) राहुल गर्ग की अदालत ने अब पंजाब परिवहन विभाग के निदेशक के वेतन खाते की अटैचमेंट के आदेश जारी किए हैं।
चंडीगढ़ कोर्ट पेंशन और रिटायरमेंट लाभ न देने पर सख्त:पंजाब राज्य परिवहन डायरेक्टर का सैलरी अकांउट अटैचमेंट के आदेश,आदेश का नहीं किया पालन
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