Akhilesh Yadav News: उत्तर प्रदेश के डीजीपी प्रशांत कुमार 31 मई को रिटायर हो रहे हैं. इससे पहले उनके एक्सटेंशन को लेकर चर्चाएं तेज हो गई हैं, इसकी वजह 31 मई को रिटायर हो रहे पांच आईपीएस अधिकारियों के विदाई समारोह का पत्र है, जिसमें प्रशांत कुमार का नाम शामिल नहीं है. जिसके बाद एक बार फिर से उनका सेवा विस्तार होना तय माना जा रहा है. जिसे लेकर अब समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने सीएम योगी आदित्यनाथ पर तंज कसा है. उन्होंने सरकार से यूपी के डीजीपी को लेकर पूछा कि क्या सरकार अब सेवा विस्तार का भी रिकॉर्ड बनाएगी.
अखिलेश यादव अक्सर सोशल मीडिया के जरिए तमाम मुद्दों को लेकर योगी सरकार को घेरने का कोई मौका नहीं छोड़ते हैं. इस बीच उन्होंने यूपी डीजीपी को लेकर सरकार पर तंज कसा है. उन्होंने अधिकारिक सोशल मीडिया अकाउंट एक्स पर सरकार से सवाल करते हुए लिखा- ‘उप्र कार्यवाहक डीजीपी का रिकॉर्ड बना चुका है अब क्या सेवा विस्तार का भी बनाएगा?'
उप्र कार्यवाहक डीजीपी का रिकॉर्ड बना चुका है अब क्या सेवा विस्तार का भी बनाएगा?
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) May 29, 2025
डीजीपी प्रशांत कुमार को मिलेगा एक्सटेंशन!
दरअसल प्रशांत कुमार यूपी के कार्यवाहक डीजीपी के साथ ईओडब्ल्यू के डीजी का भी पदभार संभाल रहे हैं. पिछले कुछ समय से इस तरह की खबरें भी आ रही है कि डीजी ईओडब्ल्यू पद के लिए केंद्र को उनके सेवा विस्तार का प्रस्ताव भेजा गया है. ऐसे में चर्चा है कि उन्हें डीजीपी ईओडब्ल्यू पद के सेवा विस्तार मिलते ही उनके यूपी के कार्यवाहक डीजीपी पद के लिए सेवा विस्तार भी हो जाएगा. अगर ऐसा होता है तो ऐसा पहली बार होगा जब किसी कार्यवाहक महानिदेशक को सेवा विस्तार मिले.
यूपी डीजीपी के लिए कई नाम रेस में चल रहे हैं. इनमें एमके बशाल, तिलोत्तमा वर्मा, राजीव कृष्णा, दलजीत सिंह जैसे नाम शामिल हैं. लेकिन फिलहाल इनमें से किसी को मौका मिलेगा ये कहना मुश्किल है.
बता दें 31 मई को यूपी में डीजी रैंक के तीन अधिकारी डीजी जेल पीवी राम शास्त्री, डीजी टेलीकॉम संजय एम तरडे और मौजूदा कार्यवाहक डीजीपी प्रशांत कुमार का रिटायरमेंट होना है. इनके अलावा डीआईजी रैंक के अफसर किरण यादव डीआईजी वूमन पावर लाइन, अरविंद चतुर्वेदी डीआईजी विजिलेंस और तेज स्वरूप सिंह डीआईजी पुलिस हेडक्वार्टर का नाम हैं. नियमों के हिसाब से रिटायर हो रहे अफसरों को फेयरफेल दी जाती है. जिसके लिए डीजीपी के स्टाफ अफसर की तरफ से इनविटेशन दिया जाता है. इस पत्र में डीजीपी प्रशांत कुमार का नाम नहीं है.