उत्तर प्रदेश स्थित प्रयागराज में शहर में बुधवार देर रात से जारी मूसलाधार बारिश और तूफानी हवाओं ने गंगा और यमुना किनारे बसे क्षेत्रों में भारी तबाही मचाई है. लगातार बारिश और तेज हवाओं के चलते गंगा और यमुना नदी में सैकड़ों नावों के डूबने और बह जाने की खबर है, जिससे नाविकों की आजीविका पर बड़ा संकट खड़ा हो गया है.
संगम तट, दारागंज, नैनी और झूंसी घाट जैसे इलाकों में हालात सबसे ज्यादा खराब हैं.
नाविकों का कहना है कि पिछले 25 वर्षों में उन्होंने ऐसा तूफान और बारिश नहीं देखी, जिसमें इस तरह का नुकसान हुआ हो. तेज हवाओं की वजह से नदी की लहरें उग्र हो गईं और तटों पर बंधी नावें एक-एक कर बहती चली गईं. कई नावें लहरों की चपेट में आकर पलट गईं, तो कुछ का अब तक कोई पता नहीं चल सका है.स्थानीय लोगों और नाविकों द्वारा बनाए गए वीडियो में देखा जा सकता है कि गंगा में समुद्र जैसी ऊंची लहरें उठ रही थीं, और नावें पानी में डगमगाती नजर आ रही थीं. कुछ नाविक अपनी नावों को बचाने की कोशिश में जुटे रहे, लेकिन लहरों की रफ्तार और तूफानी हवाओं के आगे उनकी मेहनत बेकार साबित हुई.
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मुआवजे की मांगइस घटना ने नाविक समुदाय को गहरे आर्थिक संकट में डाल दिया है. कई परिवारों की आजीविका सिर्फ नावों पर निर्भर है और उनका सारा सहारा एक ही रात में खत्म हो गया. नाविकों ने प्रशासन से तत्काल राहत, मुआवजा और मदद की मांग की है.
प्रशासन की ओर से नुकसान का सर्वे कराया जा रहा है. वहीं मौसम विभाग ने अगले 48 घंटों तक और बारिश और तेज हवाओं की चेतावनी जारी की है. प्रशासन ने लोगों से अपील की है कि वे नदियों के किनारे जाने से बचें और पूरी सतर्कता बरतें.
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