Rahul Gandhi: बिहार विधानसभा चुनाव को लेकर कांग्रेस के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष व सांसद राहुल गांधी काफी एक्टिव नजर आ रहे हैं. चुनावी वर्ष में छठी बार बिहार के दौरे पर आज (शुक्रवार) आ रहे हैं. राहुल गांधी का यह एक दिवसीय दौरा है. फ्लाइट से दिल्ली से वह 10:15 बजे गयाजी पहुंचेंगे. वहां से सुबह 10:30 बजे ‘माउंटेन मैन’ के नाम से प्रसिद्ध दशरथ मांझी की प्रतिमा पर माल्यार्पण करने पहुंचेंगे. इसके बाद वे गयाजी में दशरथ मांझी के परिजनों से भी मुलाकात करेंगे. वहां से सीएम नीतीश के गृह जिला नालंदा जाएंगे.
अत्यंत पिछड़ा वोट पर कांग्रेस की नजर
मुख्यमंत्री के गृह जिले में हुंकार भरेंगे. नालंदा के राजगीर में अत्यंत पिछड़ा वर्ग सम्मेलन को दोपहर 12:30 बजे संबोधित करेंगे. कांग्रेस की अत्यंत पिछड़ा वोट पर नजर है. बिहार में इनकी आबादी सबसे अधिक 36 फीसद है. नीतीश के परंपरागत वोटर्स हैं. इसमें सेंधमारी की कोशिश में कांग्रेस है. यह आयोजन कांग्रेस की उस रणनीति का हिस्सा है जिसमें वह सामाजिक न्याय के मुद्दों को केंद्र में रखकर अपनी राजनीतिक पकड़ मजबूत करना चाहती है.
महाबोधि मंदिर में भी दर्शन करेंगे राहुल गांधी
राजगीर से राहुल गांधी गयाजी लौटेंगे. गयाजी में दोपहर 2:45 बजे महिला संवाद कार्यक्रम को भी संबोधित करेंगे. महिला वोटरों को साधने की कवायद है. वह भी नीतीश की वोटर मानी जाती हैं. बिहार में करीब 48 फीसद महिला वोटर्स हैं. इसके बाद राहुल गांधी महाबोधि मंदिर में दर्शन करेंगे. इसके बाद वे दिल्ली के लिए रवाना हो जाएंगे.
बता दें कि चुनावी साल में राहुल गांधी बिहार में कांग्रेस में जान फूंकने में लगे हुए हैं. संगठन को मजबूत करना चाहते हैं. पिछले कुछ महीनों में राहुल गांधी की लगातार उपस्थिति ने यह संकेत दिया है कांग्रेस राज्य में अपने जनाधार को पुनर्जीवित करने की कोशिश में लगी हुई है. बिहार में अक्टूबर-नवंबर में विधानसभा चुनाव होना है. महागठबंधन में आरजेडी, कांग्रेस, विकासशील इंसान पार्टी, सीपीआई, सीपीएम, और सीपीआईएमएल है. कांग्रेस की तरफ से स्पष्ट किया जा चुका है कि महागठबंधन में हम लोग रहकर चुनाव लड़ेंगे, लेकिन कांग्रेस अपनी एक अलग पहचान बनाने की कोशिश में इस बार लगी हुई है.
दूसरी तरफ ज्यादा सीटों के लिए आरजेडी पर उसका प्रेशर पॉलिटिक्स भी जारी है. पिछली बार 70 सीटों पर कांग्रेस लड़ी थी. वहीं अभी भी कांग्रेस तेजस्वी को महागठबंधन का मुख्यमंत्री उम्मीदवार मानने को तैयार नहीं हैं जबकि आरजेडी की तरफ से ऐलान किया जा चुका है तेजस्वी ही महागठबंधन का मुख्यमंत्री चेहरा हैं. इसको ज्यादा सीटों के लिए भी कांग्रेस का आरजेडी पर दबाव बनाने की रणनीति के तौर पर भी देखा जा रहा है.
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