Gopal Khemka Murder Case: पटना में व्यवसायी गोपाल खेमका की हत्या मामले में हुई गिरफ्तारी को लेकर पटना पुलिस मुख्यालय में एक प्रेस कांफ्रेंस हुआ, जिसे डीजीपी विनय कुमार एडीजे ऑपरेशन कुंदन कृष्णन, आईजी पटना रेंज जितेंद्र राणा और SSP कार्तिके के शर्मा ने संबोधित किया. डीजीपी विनय कुमार ने बताया कि मुख्यालय के निर्देशन में एक SIT का गठन किया गया और अनुसंधान शुरू किया गया. STF के सहयोग से तकनिकी अनुसंधान एवं CCTV के अवलोकन से घटना करने वाले व्यक्ति का पीछा करते हुए पटना पुलिस उसके ठिकाने तक पहुंची.
डीजीपी के मुताबिक वहां से गोपाल खेमका की हत्या में प्रयुक्त मोटसाईकिल को बरामद किया गया. मोटरसाईकिल मालिक के बारे में आस-पास के लोगो से पूछ-ताछ की गई तो पता चला कि यह मोटरसाईकिल उमेश यादव की है, जो सामने वाले मकान में रहता है. उक्त मकान में पहुंच कर तलाशी ली गई तो घटना के समय पहनी गई शर्ट, जूता, हेल्मेट, मास्क, आदि को बरामद किया गया. उमेश यादव को साथ लेकर पूछताछ शुरू की गई.
गहन पूछ-ताछ के क्रम में उमेश यादव ने गोपाल खेमका की हत्या की बात स्वीकार की. घटना में प्रयुक्त हथियार एवं गोली के बारे में पूछने पर बताया कि घटना के बाद उसने अपने घर के प्रथम तल्ला पर छिपाकर रख दिया है. इनकी निशानदेही पर प्रथम तल के कमरे की तलाशी लेने पर 7.62 MM का 56 राउंड जिंदा कारतूस, एक 9 MM पिस्टल, दो मैगजीन एवं 14 गोली बरामद की गई.
उमेश यादव ने बताया कि घटना को अंजाम देने लिए चार लाख रुपये की सुपारी तय की गई थी. 50 हजार रुपये अग्रिम के रूप में दी गई और शेष बची राशि घटना होने के अगले दिन यानी 05.07.2025 को सुबह 08 बजे जे०पी० गंगापथ, मालसलामी थाना क्षेत्र में अशोक साव के जरिए दी गई थी. अशोक साव से इनकी मुलाकात बिहारशरीफ में करीब डेढ़ साल पहले एक शादी समारोह में हुई थी. तब से ये इनके लिए छोटे-मोटे काम कर रहा था.
करीब डेढ़ महीने पहले अशोक साव ने गोपाल खेमका की हत्या करने का षडयंत्र रचा. अशोक साव ने गोपाल खेमका की हत्या करने के लिए शूटर एवं हथियार की व्यवस्था करने के लिए कहा. अशोक साव के जरिए दो मोबाईल खरीदा गया. एक अपने पास रख लिया, एक इनको दे दिया. इनके नाम से एक सिम ले लिया. अशोक साव ने उमेश यादव से कहा कि हम इसी नम्बर से बातचीत करेंगे.
पुलिस अधिकारियों के मुताबिक अशोक साव और उमेश यादव ने मिलकर घटनाओं में संलिप्त रहने वाले अपराधकर्मियों से संम्पर्क किया. इन्हीं के इलाके के विकास उर्फ राजा जिसके ऊपर हत्या, डकैती, आर्म्स एक्ट के कई कांड दर्ज है, उससे हत्या करने के लिए संपर्क किया. तो शूटर विकास उर्फ राजा के जरिए 4 लाख रुपये की सुपारी की मांग की गई.
उसके बाद उमेश यादव के मन में विचार आया कि क्यों न यह हत्या स्वंय कर के सुपारी के सारे रुपया खुद रख लें. इसी क्रम में अशोक साव के जरिए 9 MM के हथियार, दो मैगजीन 18 गोली इन्हें मुहैया कराया. गोपाल खेमका की फोटो एवं गाड़ी रजि० नम्बर उपलब्ध कराया गया. गोपाल खेमका हर रोज शाम में 08 बजे बांकीपुर क्लब जाना एवं करीब 11:30 बजे रात में खुद गाड़ी चला कर घर वापस आ जाते थे. क्लब से निकलते समय अपने मित्र सुदेश सरिन को बाकरगंज मोड़ पर उतार कर अपने घर चले जाते थे.
उमेश यादव दिनांक 04.07.2025 को करीब 11:30 बजे बांकीपुर क्लब पहुंचा तो गोपाल खेमका की गाड़ी लगे देखा तो ये तुरंत उनके आवास की ओर बढ गया और गोपाल खेमका के आने का इंतजार करने लगा. कुछ समय बाद गोपाल खेमका अपनी कार खुद चलाते हुए अपने अपार्टमेंन्ट के गेट पर जैसे ही रूके तो उमेश यादव ने गोली मार कर उनकी हत्या कर दी. वहां से उमेश अपने मोटरसाईकिल से जमाल रोड बाईपास थाना के सामने मालसलामी, देवी स्थान होते हुए अपने घर चले गए और हथियार को अपने घर के उपर वाले कमरे में छिपा कर रख दिया.
अगले दिन सुबह तय समय के अनुसार करीब 08 बजे जेपी गंगा पथ पर मालसलामी घाट के पास ये पहुंच कर अशोक साव का इंतजार कर रहा था. थोड़ी देर के बाद अशोक साव वहां पहुंचा और सुपारी की शेष बची राशि 3 लाख 50 हजार रुपये दिए और मोबाइल दे दिया. इसके बाद ये लोग अपने-अपने घर चले गए. घर जा कर अशोक साव ने देखा कि मोबाइल में सिम नहीं था.
अनुसंधान में उमेश यादव की निशांनदेही पर उदयगिरी अपार्टमेंट के फ्लैट न. 601 की तलाशी ली गई, जहां से 6 लाख 50 हजार रुपये नगद,एक पिस्टल, 17 जिंदा कारतूस, जमीन का ढेर सारा कागजात, मोबाइल एवं अन्य समान बरामद किए गए. उसके बाद अशोक साव को गिरफ्तार किया गया. उनसे पुछ-ताछ करने पर उन्होंने बताया कि जमीन एवं बांकीपुर क्लब का विवाद होने के कारण गोपाल खेमका की हत्या करवाई गई.
बिहार में व्यवसायी गोपाल खेमका की क्यों हुई हत्या, कैसे की गई मारने पूरी प्लानिंग, पुलिस का खुलासा
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