बिहार विधानसभा चुनाव से पहले कैग रिपोर्ट से नया हंगामा खड़ा हो गया है. दरअसल, वित्त पर कैग की वित्त वर्ष 2023-24 की रिपोर्ट विधानसभा में पेश की गई. CAG की रिपोर्ट के मुताबिक, 49,649 करोड़ के खर्च का हिसाब नहीं है. कैग ने गड़बड़ी गबन की आशंका जताई है.
रिपोर्ट में कहा गया है निर्धारित समय सीमा के भीतर उपयोगिता प्रमाणपत्र जमा करने की शर्त के बावजूद 31 मार्च, 2024 तक महालेखाकार (लेखा एवं हकदारी), बिहार को 70,877.61 करोड़ रुपये के 49,649 बकाया उपयोगिता प्रमाणपत्र नहीं मिले हैं.
कैग ने कहा है कि उपयोगिता प्रमाणपत्रों के अभाव में इस बात की कोई गारंटी नहीं है कि वितरित धनराशि का उपयोग इच्छित उद्देश्य के लिए किया गया है. रिपोर्ट में कहा गया है सबसे ज्यादा भुगतान न करने वाले पांच विभागों में पंचायती राज विभाग, शिक्षा विभाग, नगरीय विकास विभाग, ग्रामीण विकास विभाग और कृषि विभाग शामिल हैं
‘कोई गड़बड़ी नहीं’
कैग रिपोर्ट पर बीजेपी विधायक हरिभूषण ठाकुर बचौल ने कहा कि कोई गड़बड़ी गबन नहीं हुआ है. उपयोगिता प्रमाणपत्र जमा नहीं किया गया होगा. कर दिया जाएगा. उन्होंने SIR पर कहा कि महागठबंधन जनता को गुमराह कर रहा है. यह रुकेगा नहीं. वोटर लिस्ट की शुद्धता निष्पक्षता सुनिश्चित करने के लिए है.
‘विभागों के प्रधान सचिवों की सम्पत्ति की जांच हो’
वहीं RJD विधायक मुकेश यादव ने कैग रिपोर्ट पर कहा कि जमकर लूट हो रही है. लूट की छूट मिली हुई हैं. नीतीश कुमार अचेत हैं. विभागों के प्रधान सचिवों के सम्पत्ति की जांच हो.
मुकेश यादव पाइप की माला पहनकर विधानसभा पहुंचे. हाथों में पोस्टर लिए थे. नीतीश कुमार के हर घर नल का जल योजना पर सवाल उठाए हैं. बिहार के सीतामढ़ी के बाजपट्टी के 42 पंचायत में पीने का पानी नहीं आ रहा है.
उन्होंने कहा, ”आलाधिकारी और मंत्री सुनते नहीं हैं. यह योजना भ्रष्टाचार से भेंट चढ़ गया है. उन्होंने SIR पर कहा कि मानसून सत्र के अंतिम दिन भी उठा रहे हैं. इसे तुरंत रोका जाए. मतदाताओं का नाम काटा जा रहा है.”
बिहार: 49,649 करोड़ का हिसाब नहीं मिलने पर BJP बोली- कोई गड़बड़ी नहीं हुई, RJD ने क्या कहा?
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