भीमताल यूनिवर्सिटी में BCA की छात्रा ने की आत्महत्या, पिता ने रैगिंग और लापरवाही के लगाए आरोप

by Carbonmedia
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उत्तराखंड में भीमताल की एक प्राइवेट यूनिवर्सिटी में बीसीए द्वितीय वर्ष की छात्रा वसावी तोमर की आत्महत्या के मामले ने तूल पकड़ लिया है. छात्रा के पिता राम सिंह तोमर ने यूनिवर्सिटी प्रबंधन पर रैगिंग और लापरवाही के गंभीर आरोप लगाए हैं, जबकि यूनिवर्सिटी प्रबंधन ने रैगिंग के दावों को खारिज करते हुए जांच में सहयोग की बात कही है. पुलिस ने मोबाइल डेटा और फोरेंसिक साक्ष्यों के आधार पर जांच शुरू कर दी है.
बता दें कि 30 जुलाई  को भीमताल की एक प्राइवेट यूनिवर्सिटी के हॉस्टल में लखनऊ निवासी 18 वर्षीय बीसीए द्वितीय वर्ष की छात्रा वसावी तोमर का शव छत से लटका मिला था. सूचना पर पहुंची पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर भवाली के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र भेजा, जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया. शुक्रवार 1 अगस्त को वसावी के पिता राम सिंह तोमर ने यूनिवर्सिटी प्रबंधन पर गंभीर आरोप लगाए. उन्होंने दावा किया कि उनकी बेटी हंसमुख थी और आत्महत्या जैसा कदम नहीं उठा सकती थी.
राम सिंह तोमर ने कहा कि वसावी ने हमें बताया था कि हॉस्टल में उसकी सीनियर द्वारा रैगिंग की गई थी. उसने इसका वीडियो भी बनाया और हमें भेजा था. कॉलेज प्रबंधन ने हमें कोई सहयोग नहीं दिया. हमें न तो अन्य छात्राओं से मिलने दिया गया और न ही सही समय पर सूचना दी गई. उन्होंने पुलिस से निष्पक्ष जांच की मांग की है.
यूनिवर्सिटी का रैगिंग से इनकार
उधर यूनिवर्सिटी के डायरेक्टर प्रो. एन.के. नायर ने रैगिंग के आरोपों को सिरे से खारिज किया. उन्होंने कहा कि हमारी यूनिवर्सिटी में रैगिंग के खिलाफ जीरो टॉलरेंस नीति है. रैगिंग आमतौर पर प्रथम वर्ष के छात्रों के साथ होती है, जबकि वसावी द्वितीय वर्ष की छात्रा थी. हमने पुलिस को पूरा सहयोग किया है. छात्रा का मोबाइल और अन्य सामान जांच के लिए पुलिस को सौंपा गया है, जिसमें कुछ महत्वपूर्ण डेटा मिला है. फोरेंसिक टीम साक्ष्य जुटा रही है, और जांच पूरी होने तक कुछ भी कहना उचित नहीं होगा.
पुलिस जांच जांच जारी
छात्रा द्वारा आत्महत्या के मामले में एसपी (ट्रैफिक) डॉ. जगदीश चंद्र ने बताया कि यूनिवर्सिटी स्टाफ ने छात्रा को फंदे से उतारकर तत्काल अस्पताल पहुंचाया था. शव का पोस्टमार्टम वीडियोग्राफी के साथ कराया गया है, और रिपोर्ट का इंतजार किया जा रहा है. उन्होंने कहा कि हॉस्टल के कमरे से कोई सुसाइड नोट नहीं मिला, लेकिन वसावी के मोबाइल में कुछ मैसेज मिले हैं, जो आत्महत्या के कारणों को स्पष्ट कर सकते हैं. पुलिस आत्महत्या और अन्य संभावित कोणों से जांच कर रही है. हॉस्टल का कमरा सील कर दिया गया है और फोरेंसिक जांच के लिए सामान भेजा गया है.
आत्महत्या के पीछे कारणों की तलाश
पुलिस के की मानें तो प्रथम दृष्टया मामला आत्महत्या का प्रतीत हो रहा है, लेकिन कोई सुसाइड नोट न मिलने से जांच जटिल हो गई है. वसावी के साथ हॉस्टल में दो अन्य छात्राएं रहती थीं  वो घटना के समय कक्षा में थीं. पुलिस का मानना है कि यदि वसावी किसी मानसिक तनाव या रैगिंग से परेशान थी तो उसने इस बारे में किसी से जरूर बात की होगी. अब मोबाइल डेटा और कॉल डिटेल्स की जांच इस मामले में अहम साबित हो सकती है.

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