लुधियाना| न्यू आंबेडकर नगर के श्री जानकी मंदिर में महाशिवपुराण कथा चल रही है। इस दौरान कथावाचक पंडित अवधेश पांडे ने भक्तों को भगवान शिव और माता पार्वती का विवाह प्रसंग सुनाया। कथावाचक ने बताया कि पार्वती जी, राजा हिमालय की पुत्री थीं, जिन्होंने भगवान शिव को पति रूप में पाने के लिए कठोर तपस्या की। उनकी अटूट भक्ति से प्रसन्न होकर भगवान शिव ने दर्शन दिए और विवाह के लिए सहमति दी। नारद मुनि के माध्यम से यह शुभ समाचार राजा हिमालय तक पहुंचा और उन्होंने भी सहर्ष विवाह स्वीकार कर लिया। कथा में वर्णन हुआ कि विवाह के दिन भगवान शिव पहुंचे। उन्होंने ने बताया कि यह विवाह केवल दो आत्माओं का मिलन नहीं, बल्कि पुरुष और स्त्री ऊर्जा के संतुलन, भक्ति और गृहस्थ धर्म की महत्ता का प्रतीक है। इसी विवाह के बाद भगवान शिव ने गृहस्थ जीवन को अपनाया और सृष्टि संचालन का बीड़ा उठाया।
माता पार्वती ने शिव जी को पति रूप में पाने के लिए कठोर तपस्या की थी
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