यूपी एसटीएफ को मिली बड़ी कामयाबी, 16 साल से फरार 50 हजार का इनामी डकैत सतीश गिरफ्तार

by Carbonmedia
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Lucknow News: उत्तर प्रदेश स्पेशल टास्क फोर्स (एसटीएफ) ने राजस्‍थान के अलवर जिले के खैरथल कस्बे से 50 हजार रुपये के इनामी और 16 साल से फरार डकैत सतीश उर्फ मनीष को दबोच लिया है. बरेली के भोजीपुरा थाने में दर्ज 2009 की डकैती के इस आरोपी पर पुलिस तभी से इनाम घोषित किए हुए थी. गिरफ्तारी बुधवार 19 जून को शाम लगभग 6‑50 बजे हरसौली फाटक खैरथल (अलवर) पर हुई.
एसटीएफ बरेली इकाई को लगातार सूचना मिल रही थी कि पुराने इनामी अपराधी अलग‑अलग जिलों में पहचान छिपाकर सक्रिय हैं. अपर पुलिस अधीक्षक एसटीएफ अब्दुल कादिर के पर्यवेक्षण में उनि धूम सिंह के नेतृत्व वाली टीम, मुख्य आरक्षी संदीप, कुलदीप, अरुण, संजय यादव और चालक मनोज अवस्थी ने तकनीकी निगरानी और मुखबिर तंत्र से पता लगाया कि सतीश फर्जी नाम‑पता बताकर खैरथल की जाट कॉलोनी आनंद नगर में रह रहा है. सूचना पक्की होते ही टीम ने घेराबंदी कर उसे शांतिपूर्वक दबोच लिया.
इस गिरोह का अंदाज़ घुमन्तु है यानी सदस्य लगातार शहर‑शहर घूमते हैं, फर्जी दस्तावेज बनवाते और फिर लूट‑डकैती की वारदात कर चुपचाप दूसरे राज्य निकल जाते. पूछताछ में सतीश ने माना कि पहचान छिपाने के लिए उसने नकली आधार व पते की व्यवस्था कर रखी थी.
आपराधिक इतिहास मुकदमा 336/2009 धारा 395 भादंवि भोजीपुरा बरेली (डकैती)425/2009 धारा 395 397 देवरनियां बरेली101/2009 धारा 396 अछनेरा आगरा104/2024 गिरोहबंद निवारण कानून बिजनौर335/2022 धारा 392 बिजनौर443/2022 धारा 307 / 120‑B L व 25/3 आयुध अधि. बिजनौर
एसटीएफ ने सतीश को ट्रांजिट रिमांड पर बरेली लाकर मूल मुकदमे 336/2009 में कोर्ट के समक्ष पेश किया जहां से उसे न्यायिक अभिरक्षा में भेजा गया. भोजीपुरा पुलिस आगे की तफ्तीश कर रही है बाकी जिलों के मामलों में भी सतीश से पूछताछ होगी.
बता दें कि साल 1998 में गठित यूपी‑एसटीएफ राज्य की सबसे हाई‑प्रोफाइल जांच इकाई है, जिसने श्रीप्रकाश शुक्‍ला गैंग से लेकर नक्सल नेटवर्क तक पर अंकुश लगाने में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाई है. आधुनिक हथियारों डिजिटल सर्विलांस और अंतरराज्यीय समन्वय की बदौलत एसटीएफ प्रदेश‑भर के इनामी व मोस्ट‑वांटेड अपराधियों का शिकंजा कस रही है. बीते साल ही एसटीएफ ने 70 से ज्यादा इनामी अपराधियों को धर दबोचा, जिनमें कई अन्तर्राज्यीय सक्रिय थे. सतीश की गिरफ्तारी से न सिर्फ 2009 की पुरानी डकैती के पीड़ितों को न्याय की उम्मीद जगी है, बल्कि घुमक्कड़ डकैती गिरोहों पर भी बड़ा प्रहार माना जा रहा है. यूपी STF का कहना है कि गिरोह के बाकी सदस्यों को भी जल्द पकड़ लिया जाएगा.

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