UP Politics: समाजवादी पार्टी ने हाल ही तीन बागी विधायकों पर सख्त कार्रवाई करते हुए उन्होंने पार्टी से निष्कासित कर दिया है, बाकी बचे विधायकों को भी हृदय परिवर्तन का समय दिया गया है. इन बागी विधायकों में चायल सपा एमएलए पूजा पाल का नाम भी शामिल था लेकिन अब पार्टी की ओर से उन्हें लेकर नरमी देखी जा रही है. पूजा पाल पार्टी के लिए अच्छे व्यवहार वाली बागी बन गई है.
सपा विधायक पूजा पाल भी उन बागी विधायकों की लिस्ट में शुमार थीं जिन्हें राज्यसभा चुनाव में क्रॉस वोटिंग करते हुए भारतीय जनता पार्टी का साथ दिया था. जिसके बाद उन्हें भी पार्टी ने निकालने के क़यास लगाए जा रहे थे लेकिन, फिर भी सपा के द्वारा उन पर कार्रवाई नहीं की गई. उन्हें अच्छे व्यवहार के नाम पर अभी और समय दे दिया गया है.
अच्छी वाली बागी विधायक बनीं पूजा पालसियासी जानकारी की माने तो पूजा पाल पर कार्रवाई नहीं होनी की सबसे बड़ी वजह अखिलेश यादव का पीडीए (पिछड़ा दलित और अल्पसंख्यक) फॉर्मूले है. पूजा पाल पिछड़ा वर्ग से आती हैं और चायल क्षेत्र में बड़ी संख्या में पाल समाज के लोग रहते हैं. 2022 से पहले ये वोटर बीजेपी के साथ थे. लेकिन पिछले चुनाव में जब सपा ने इस सीट पर पूजा पाल को उतारा तो बड़ी संख्या में पाल वोटरों ने सपा की ओर रुख़ किया, जिसका नतीजा ये हुआ कि सपा को इस सीट पर जीत हासिल हुई.
राज्यसभा चुनाव में क्रॉस वोटिंग के बाद भी पूजा पाल कई बार बीजेपी नेताओं के साथ देखी गईं और भाजपा के समर्थन में बैठकें भी की लेकिन, बावजूद इसके उन्होंने कभी सपा या सपा नेतृत्व के खिलाफ बयानबाजी नहीं की. पूजा पाल पर कार्रवाई नहीं होने की एक बड़ी वजह ये भी है कि यूपी में अगले साल पंचायत चुनाव होने हैं, ऐसे में सपा चुनाव से पहले कोई रिस्क नहीं लेना चाहती है.
सपा चुनाव में चुनाव में ये भी संदेश देने की कोशिश करेगी कि बुरे वक्त में इन प्रतिनिधियों ने उनका साथ छोड़ दिया था लेकिन बावजूद इसके सपा ने उन पर कोई कार्रवाई नहीं की. ऐसे में सपा को पाल वोटरों की नाराजगी भी नहीं उठाने पड़ेगी. इसलिए सपा ने पूजा पाल को ऐसे बागी विधायकों की लिस्ट में रखा है जिनका हृदय परिवर्तन हो रहा है.
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सपा की बागी विधायक पूजा पाल का हो गया हृदय परिवर्तन! जानें- क्यों मेहरबान हुई पार्टी?
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