हरियाणा के अंबाला रेल मंडल के अधीन कालका रेलवे स्टेशन के पास यूनियन नेता और कामर्शियल इंस्पेक्टर के बीच हुई हाथापाई के मामले में अब थाने में समझौता हो गया। दोनों पक्षों ने थाने में लिखित रूप से समझौते की बात कही है इसके साथ यह भी लिखा कि अब कामर्शियल इंस्पेक्टर यूनियन की सदस्यता की पर्ची कटवाने के लिए यूनियन नेता के पास नहीं जाएगा। भले ही दोनों पक्षों के बीच में समझौता हो गया हो, लेकिन अब भी विभागीय जांच बाकी है। इससे पहले भी दो बार कालका रेलवे स्टेशन विवादों में आ चुका है। लोडिंग अनलोडिंग को लेकर वसूली का मामला आए दिन सुर्खियों में रहता है। हालांकि अंबाला रेल मंडल के अधिकारी इस पूरे प्रकरण की जांच करवा रहे हैं।
डीसीएम और आरपीएफ के संयुक्त ने अपनी जांच रिपोर्ट सौंप दी थी लेकिन अभी इस पर कोई फैसला नहीं लिया गया। जानकारी के अनुसार, शुक्रवार को कालका रेलवे स्टेशन के पास यूनियन दफ्तर में नेता और सीएमआइ के बीच हाथापाई हो गई थी। बताया गया था कि सीएमआइ यूनियन का सदस्य बनने के लिए पर्ची कटवाने गया था लेकिन पर्ची काटने से मना कर दिया गया था। इसको लेकर यूनियन नेता और सीएमआइ के बीच हाथापाई की नौबत आ गई थी। दोनों ने ही एक-दूसरे पर आरोप प्रत्यारोप लगाए। यूनियन नेता ने कपड़े फाड़ने के आरोप लगाए और जबकि सीएमआइ ने नेता द्वारा मारपीट करने के। दोनों ने ही पुलिस अधिकारियों को शिकायत दे दी थी। अभी मामला दर्ज भी नहीं हुआ कि वरिष्ठ अधिकारियों का दखल आ गया। क्रास दर्ज होना था मामला जानकारी के अनुसार, दोनों ने शिकायत की थी इसलिए मामला क्रास दर्ज होना था। दोनों की ही मुश्किलें बढ़ सकती थी ऐसे में दोनों ने समझौते का ही रास्ता चुना और लिखित रूप में एक पंचायती फैसला पुलिस को सौंप दिया। भले ही पुलिस थाने में समझौता हो गया हो, लेकिन रेलवे की इस मामले में भी किरकिरी हुई है। रेलवे की छवि पर भी असर पड़ा है। अब रेलवे अधिकारी भी इस मामले में दोनों से जवाब तलब करेंगे। कालका रेलवे स्टेशन पर लोडिंग अनलोडिंग करने वाली लेबर की मजदूरी पर भी बंदरबाट होती है। इसी बंदरबाट की वजह से कालका रेलवे स्टेशन विवादों से जाना जा रहा है। पिछले दिनों आरपीएफ के एएसआइ की वर्दी फाड़ दी गई। थी जबकि पार्सल सुपरवाइजर ने एएसआइ द्वारा मारपीट के आरोप लगाए थे। सारा मामला लोडिंग अनलोडिंग पर होने वाली मजदूरी के हिस्से में बंदरबाट का है।
सीएमआई और यूनियन नेता के बीच हुआ समझौता:कालका रेलवे स्टेशन के पास हुआ था विवाद, वरिष्ठ अधिकारियों के दखल से सुलझा
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