सोनीपत में ट्रेनों पर पथराव रोकने के लिए आरपीएफ सक्रिय:शताब्दी और वंदे भारत पर हो रहा बार-बार पथराव; आरपीएफ ने शुरू किया ऑपरेशन दोस्ती अभियान

by Carbonmedia
()

दिल्ली-अंबाला रेल मार्ग पर ट्रेनों पर पथराव की बढ़ती घटनाओं को रोकने के लिए रेलवे सुरक्षा बल (आरपीएफ) ने ‘ऑपरेशन दोस्ती’ नामक एक विशेष जागरूकता अभियान की शुरुआत की है। इस अभियान के तहत आरपीएफ न केवल यात्रियों को जागरूक कर रही है, बल्कि पथराव की घटनाओं में शामिल लोगों की पहचान कर उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जा रही है। खासकर सोनीपत और राठधना जैसे स्टेशनों पर हाल ही में हुई घटनाओं ने रेलवे प्रशासन को गंभीर कदम उठाने को मजबूर किया है। ऑपरेशन दोस्ती के जरिए युवाओं को किया जा रहा जागरूक आरपीएफ ने ऑपरेशन दोस्ती अभियान के तहत सोनीपत और राठधना स्टेशन पर जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किए। अभियान के दौरान यात्रियों और आसपास के इलाकों के युवाओं को बताया गया कि रेलवे लाइन पर पत्थर रखना या ट्रेनों पर पथराव करना कानूनन अपराध है। आरपीएफ ने समझाया कि यह हरकत यात्रियों की जान को जोखिम में डाल सकती है और इसके गंभीर कानूनी परिणाम हो सकते हैं। शताब्दी और वंदे भारत पर हो चुका है हमला 11 जुलाई को अमृतसर शताब्दी एक्सप्रेस पर राठधना-सोनीपत स्टेशन के बीच शाम 5:30 बजे पत्थरबाजी की गई थी। इसी तरह 13 जून को चंडीगढ़ से दिल्ली होते हुए अजमेर जा रही वंदे भारत एक्सप्रेस पर दोपहर 3:45 बजे हमला हुआ। दोनों घटनाओं से यात्री दहशत में आ गए और आरपीएफ को गश्त बढ़ाने के साथ विशेष अभियान की जरूरत महसूस हुई। नरेला से सोनीपत तक बनाया गया संवेदनशील ट्रैक आरपीएफ ने नरेला से लेकर सोनीपत स्टेशन के बीच के रेलवे ट्रैक को पथराव के लिहाज से संवेदनशील माना है। यहां पर कई बार एक्सप्रेस ट्रेनों पर पथराव की घटनाएं सामने आ चुकी हैं। इस क्षेत्र को ध्यान में रखते हुए लगातार निगरानी रखी जा रही है और संदिग्ध लोगों पर नजर रखी जा रही है। पत्थरबाजी के लिए चिह्नित किए गए क्षेत्र आरपीएफ ने पथराव की घटनाओं को ध्यान में रखते हुए कुछ खास क्षेत्रों को चिह्नित किया है। इनमें राठधना-नरेला सेक्शन, हरसाना कलां, सुंदर सावरी कॉलोनी, शनि मंदिर क्षेत्र, ईदगाह कॉलोनी, ज्ञान नगर और गांव बैंयापुर खुर्द शामिल हैं। इन क्षेत्रों में कई बार बच्चे खेल-खेल में ट्रेनों पर पत्थर फेंक देते हैं, जिससे गंभीर हादसे हो सकते हैं। कानूनी सजा और जुर्माने का प्रावधान आरपीएफ ने स्पष्ट किया है कि ट्रेनों पर पत्थर फेंकना एक दंडनीय अपराध है। दोषी पाए जाने पर संबंधित व्यक्ति के खिलाफ भारतीय रेलवे अधिनियम की धाराओं के तहत केस दर्ज किया जाएगा। इसमें 5 साल तक की सजा और ₹10,000 तक का जुर्माना हो सकता है। संगम यादव, थाना प्रभारी, आरपीएफ सोनीपत ने लोगों से अपील की है कि वे ऐसे अपराधों में शामिल न हों और जागरूकता अभियान का समर्थन करें।

How useful was this post?

Click on a star to rate it!

Average rating / 5. Vote count:

No votes so far! Be the first to rate this post.

Related Articles

Leave a Comment