हरियाणा सरकार ने राज्य में मातृ स्वास्थ्य सेवाओं को और मजबूत करने के लिए विस्तारित प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान (e-PMSMA) के तहत एक अतिरिक्त दिवस शुरू किया है। e-PMSMA एक राष्ट्रीय पहल है जिसका उद्देश्य गर्भवती महिलाओं को आश्वस्त, समग्र और गुणवत्तापूर्ण प्रसवपूर्व देखभाल सेवाएं प्रदान करना है। यह कार्यक्रम विशेष रूप से उच्च जोखिम वाली गर्भावस्थाओं (HRP) की समय रहते पहचान और प्रबंधन पर केंद्रित है, जिसमें चिकित्सकीय जांच, निदान, दवा, परामर्श और नाश्ता जैसी सुविधाएं सार्वजनिक स्वास्थ्य संस्थानों में निशुल्क दी जाती हैं। MMR 110 से घटकर 89 पर पहुंचा स्वास्थ्य मंत्री आरती सिंह राव ने जानकारी देते हुए कहा, “इन प्रयासों को और तेज करने की आवश्यकता को देखते हुए हरियाणा ने विस्तारित PMSMA की शुरुआत की, जिसके तहत अब सेवाएं प्रत्येक माह की 9, 10 और 23 तारीख को भी उपलब्ध कराई जाती हैं। e-PMSMA को हरियाणा में सफलतापूर्वक लागू किया गया है। इस सक्रिय दृष्टिकोण से उच्च जोखिम गर्भावस्थाओं की पहचान और प्रबंधन में उल्लेखनीय सुधार हुआ है, जो मातृ मृत्यु का एक प्रमुख कारण होती हैं। इससे अब हरियाणा में मातृ मृत्यु दर अनुपात (MMR) 110 (SRS 2018–20) से घटकर 89 (SRS 2020–22) हो गया है। मंथ के आखरी वर्किंग डे मिलेंगी सेवाएं उन्होंने आगे कहा, मातृ मृत्यु को और कम करने और प्रसवपूर्व देखभाल की गुणवत्ता बढ़ाने के लिए, स्वास्थ्य विभाग के अधीन राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन ने हर महीने के अंतिम कार्य दिवस को अतिरिक्त e-PMSMA दिवस के रूप में घोषित किया है। इस दिन सभी PMSMA सेवाएं दी जाएंगी, जिसमें HRP की पहचान और प्रबंधन पर विशेष ध्यान रहेगा। इस नए e-PMSMA दिवस का पहला आयोजन राज्यभर में 30 जुलाई 2025 को किया जाएगा, ताकि अधिक से अधिक गर्भवती महिलाओं को समय पर और गुणवत्तापूर्ण देखभाल मिल सके।” इन महिलाओं को मिलेगा फायदा स्वास्थ्य मंत्री आरती राव ने कहा, यह अतिरिक्त दिवस उन गर्भवती महिलाओं के लिए विशेष रूप से सहायक होगा जो व्यक्तिगत या अन्य कारणों से नियमित PMSMA दिवस पर सेवाएं नहीं ले पाती हैं। इस पहल से जांच के अधिक अवसर मिलेंगे, जटिलताओं की समय पर पहचान हो सकेगी और आवश्यकतानुसार रेफरल की सुविधा भी समय रहते सुनिश्चित की जा सकेगी, खासकर ग्रामीण क्षेत्रों में।
हरियाणा में घटी मातृ-मृत्यु दर, 110 से घटकर 89 हुई:e-PSMA की एक दिन और मिलेंगी सेवाएं; स्वास्थ्य मंत्री बोली- हाई रिस्क प्रेगनेंट लेडी पर फोकस
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