Swami Avimukteshwaranand on Hindu Rashtra: वाराणसी में ज्योतिष पीठ के शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती ने पटना में सनातन महाकुंभ के दौरान पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री द्वारा हिंदू राष्ट्र की चर्चा पर पलटवार किया है. यही नहीं उन्होंने महाराष्ट्र में हिंदी-मराठी भाषा विवाद और बिहार विधानसभा चुनाव 2025 को लेकर भी अपनी बेबाक राय रखी. शंकराचार्य ने गौ रक्षा को सर्वोपरि बताते हुए हिंदू राष्ट्र की अवधारणा पर सवाल उठाए और मराठी भाषा को हिंसा से जोड़ने की निंदा की.
एबीपी न्यूज से बातचीत में शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद ने महाराष्ट्र में चल रहे हिंदी-मराठी भाषा विवाद पर कहा कि अगर थप्पड़ को भाषा के साथ जोड़ा गया तो भाषा विकृत हो जाएगी. मराठी भाषा को पूरे देश में प्रेम मिलता है, लेकिन हिंसा के साथ इसे जोड़ना ठीक नहीं. थप्पड़ और हिंसा मराठी को कलंकित कर देगी, जिससे लोगों की धारणा बदलेगी.
उन्होंने मराठी भाषा की तारीफ करते हुए कहा कि यह भाषा सोना है, इसके साथ उदारता जोड़ें, न कि हिंसा. यह बयान महाराष्ट्र में मराठी अस्मिता और हिंदी की अनिवार्यता को लेकर चल रही सियासी बहस के संदर्भ में आया है, जहां ठाकरे बंधुओं ने मराठी भाषा की रक्षा के लिए एक मंच साझा किया था.
हिंदू राष्ट्र पर शंकराचार्य की राय
उधर पटना में सनातन महाकुंभ में पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री के हिंदू राष्ट्र के बयान पर शंकराचार्य ने तंज कसते हुए कहा कि हम अभी एक कुंभ से आए हैं, यह दूसरा कौन सा कुंभ हो गया, इसकी जानकारी नहीं. हिंदू राष्ट्र की बात करने वालों से हम बार-बार एक ही सवाल पूछ रहे हैं कि गौ रक्षा पर आपका क्या रुख है? ऐसा हिंदू राष्ट्र न बने जिसमें गौ हत्या हो. अगर गौ हत्या बंद हो जाए, भले ही उसे हिंदू राष्ट्र न कहा जाए, वह एक ऊंचा राष्ट्र होगा. उन्होंने जोर देकर कहा कि हिंदू प्रतीकों, खासकर गौ माता की रक्षा, असली मुद्दा है.
बिहार विधानसभा चुनाव और गौ रक्षा
बिहार विधानसभा चुनाव 2025 को लेकर शंकराचार्य ने स्पष्ट किया कि कोई भी राजनीतिक दल गौ रक्षा के लिए सतपात्र नहीं है. उन्होंने कहा कि बिहार में कोई ऐसा दल नहीं जो गौ माता की रक्षा की बात करे. इसलिए सभी सीटों पर गौ भक्त उम्मीदवार खड़े होंगे और गौ रक्षा के समर्थकों से वोट मांगेंगे.
‘हिंदू राष्ट्र न बने तो ठीक है लेकिन…’, शंकराचार्य अविमुक्तेश्वरानंद ने दे दिया बड़ा बयान
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