ED Raid On OctaFX: ईडी ने मनी लॉन्ड्रिंग मामले में 13 जून 2025 को मुंबई, दिल्ली, चेन्नई और गुड़गांव में कुल 7 स्थानों पर छापेमारी की. यह कार्रवाई OctaFX ट्रेडिंग ऐप और वेबसाइट (www.octafx.com) के ज़रिए अवैध ऑनलाइन फॉरेक्स ट्रेडिंग से जुड़े एक बड़े घोटाले की जांच के तहत की गई.
छापों के दौरान ईडी को कई आपत्तिजनक दस्तावेज, डिजिटल डिवाइस और अहम इलेक्ट्रॉनिक साक्ष्य मिले हैं, जिन्हें जब्त किया गया है. ईडी ने यह जांच पुणे के शिवाजी नगर पुलिस स्टेशन में दर्ज एफआईआर के आधार पर शुरू की थी, जिसमें OctaFX प्लेटफॉर्म के जरिए निवेशकों को भारी मुनाफे का झांसा देकर ठगने के आरोप लगे थे.
RBI की अनुमति के बिना कर रहा था काम जांच में सामने आया कि OctaFX और M/s OctaFx India Pvt Ltd ने भारतीय रिज़र्व बैंक (RBI) की अनुमति के बिना देश में संचालन किया और विदेशी मुद्रा व्यापार के नाम पर निवेशकों से भारी रकम ठग ली. इस पूरे फर्जीवाड़े में एक साल से भी कम समय में 800 करोड़ रुपये से अधिक की हेराफेरी हुई है. OctaFX ने निवेशकों के फंड्स को म्यूल खातों के ज़रिए Dinero Payment Services नामक एक अवैध पेमेंट एग्रीगेटर के एस्क्रो अकाउंट्स में ट्रांसफर किया. फर्जी केवाईसी के आधार पर शेल कंपनियों को ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म के रूप में दिखाया गया ताकि पेमेंट गेटवे तक पहुंच मिल सके और सिस्टम को चकमा दिया जा सके.
फर्जी भुगतान के लिए OctaFX फंड्स का इस्तेमालOctaFX फंड्स को ऑनलाइन खरीदारी के रूप में दिखाया गया, फिर कई खातों में ट्रांसफर कर फर्जी फॉरेक्स या सट्टेबाजी भुगतान के रूप में निकाल लिया गया, जिससे असली स्रोत और उद्देश्य छुपा रहे. करीब 50% यूज़र फंड्स को म्यूल अकाउंट्स में डायवर्ट किया गया, जिन्हें ई-कॉमर्स रिफंड, चार्जबैक या वेंडर पेमेंट बताकर फर्जी भुगतान किया गया. ईडी की छापेमारी में यह भी सामने आया कि OctaFX ने URL Masking तकनीक का इस्तेमाल कर पेमेंट गेटवे की पहचान छुपाई ताकि नियामक एजेंसियों और बैंकों की नज़र से बचा जा सके. यूज़र को स्पष्ट पेमेंट लिंक की बजाय भ्रामक या सामान्य यूआरएल दिखाए गए, जिससे लेन-देन की ट्रेसिंग मुश्किल हो गई. अब तक ईडी ने इस घोटाले में 160.8 करोड़ रुपये की संपत्तियां अटैच/सीज़/फ्रीज़ की हैं, जिनमें स्पेन स्थित संपत्तियां भी शामिल हैं.
ED Raid On OctaFX: अवैध ऑनलाइन फॉरेक्स ट्रेडिंग घोटाला! OctaFX मामले में ED ने 7 जगह की छापेमारी, 800 करोड़ रुपये के झोल का किया पर्दाफाश
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