नगर निगम की ओर से मानसून की तैयारी के दावे किए जा रहे हैं लेकिन डेडलाइन बीतने और बरसात से पहले होने वाले काम पूरे नहीं हो सके हैं। इस बरसात से पहले माधोपुरी-कुंदनपुरी में पुलिया का निर्माण होना था लेकिन यह काम अधूरा है। इससे इलाकावासियों को डूबने का खतरा बना है। 2023 में बरसात में बुड्ढा दरिया का जलस्तर बढ़ने से उसके समीप 250 से अधिक झुग्गियां डूब गईं थीं। बरसात में हालात ये थे कि एक दिन में दरिया का छह इंच से ज्यादा जलस्तर बढ़ गया था। ताजपुर रोड पर बनी झुग्गियों और कई घरों में भी पानी घुस गया था। हलका सेंट्रल के माधोपुरी और न्यू माधोपुरी इलाके में पानी गलियों और कई घरों में भी घुस गया था। वहीं, नाला ओवरफ्लो होने से रणजीत पार्क, कश्मीर नगर, शिवाजीनगर, न्यू शिवाजीनगर, ढोका मोहल्ला के इलाकों में पूरी तरह से जलभराव हो जाता है। 3 फीट तक पानी भर जाता है। 2024 में बरसात अधिक नहीं होने से यह समस्या पेश नहीं आई लेकिन 2025 में बरसात अधिक होने की आशंका के बीच तैयारी करने में निगम प्रशासन पिछड़ गया। बुड्ढा दरिया में दो पुलियां बरसात से पहले तैयार होनी थीं लेकिन नहीं बन सकी हैं। वहीं ढोका मोहल्ला, हरबंसपुरा, धरमपुरा, गउशाला रोड स्थित नाला को ढकने का काम भी नहीं हुआ है। कार्य पार्षद सत्यापित करेंगे, बताएंगे कि काम हुए या नहीं मानसून के दौरान वार्ड में कार्य हुए या नहीं, इसे स्थानीय पार्षद सत्यापित करेंगे। इसके बाद ही निगम के अधिकारी कामों को लेकर प्रमाण पत्र जारी करेंगे। मेयर इंद्रजीत कौर और नगर कमिश्नर आदित्य डेचलवाल ने इस संबंध में निर्देश जारी किए हैं। उन्होंने मानसून को लेकर अधिकारियों के साथ बैठक की। इस दौरान कंट्रोल रूम बनाने के साथ ही बुड्ढा दरिया पर पुलों के निर्माण स्थलों से मलबे को हटाने के निर्देश जारी किए। शहर में चल रहे अंडरग्राउंड वायरिंग के काम रोकने को कहा गया। मेयर ने कहा कि किसी भी मेनहोल को खुला न छोड़ें और मेनहोल को जल्द से जल्द मरम्मत/बदले जाएं। रोड ग्रिड की नियमित सफाई हो। पुल निर्माण स्थलों से मलबे को हटाया जाए। दरेसी उप-क्षेत्र कार्यालय में 24/7 बाढ़ नियंत्रण कक्ष स्थापित किया है। क्षेत्रों में जलभराव होने पर निवासी 0161-2749120 पर कॉल कर मदद ले सकेंगे। केस 3-नाला कवर करने का काम अधूरा कुम्हारों की पुली से श्मशान घाट वाली रोड तक नाला कवर होना है। यह प्रोजेक्ट 2021-2022 में पूरा होना था। यह मामला हाईकोर्ट में चल रहा है। कांग्रेस नेता मांगा शर्मा ने बताया कि प्रोजेक्ट में प्रोग्रेस नहीं है। मजदूर पहले काम कर रहे थे जो रुपये न मिलने से काम छोड़ गए हैं। 15 फीट तक साइड वॉल बनाई है जो अधूरी है। बरसात में नाले के किनारे बने मकानों की नींव धंस सकती है और साइडों के मकान गिर सकते हैं। मामले की सुनवाई 30 जुलाई को है। केस 2-पुलिया तोड़ी लेकिन बनी नहीं पूर्व सीनियर डिप्टी मेयर के वार्ड में माधोपुरी क्षेत्र में पुलिया बनी थी। इस पुलिया से लोग आते जाते थे लेकिन बरसात में बुड्ढा दरिया में पानी ओवरफ्लो होता था। दरिया में पीछे से गंदगी बहकर आती थी। पुलिया नीची होने से गंदगी वहां रुक जाती थी। निगम ने माधोपुरी, कुंदनपुरी में चार पुलिया को ऊंचा करने की योजना बनाई थी। माधोपुरी में पुलिया तोड़ दी लेकिन नया निर्माण नहीं हो सका है। कुंदनपुरी में पुलिया का काम अधूरा है। केस 1-ढोका मोहल्ला में फ्लड गेट नहीं बना ढोका मोहल्ला व आसपास के इलाकों में बारिश के दौरान पानी भर जाता था। ऐसे में नगर निगम ने आईआईटी रुड़की को 25 लाख रुपये दिए थे। आईआईटी रुड़की ने फ्लड गेट तैयार करना था जो बुड्ढा दरिया से ओवरफ्लो होकर आने वाले पानी को रोकेगा। 2024 में इसे पूरा होना था लेकिन इस योजना में लंबा समय लग गया। काम शुरू हुआ है लेकिन बरसात से पहले यह काम पूरा नहीं हो सका है। इसके चलते आसपास के इलाकों में बारिश का पानी भर तय है।
शहर का डूबना तय…डेडलाइन खत्म, माधोपुरी व कुंदनपुरी में पुलिया नहीं बनी, नाला ढका नहीं
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