केंद्रीय सहकारिता मंत्रालय की मीटिंग गुर्जर-शर्मा पहुंचे:शाह कर रहे अध्यक्षता; अरविंद शर्मा बोले- सभी राज्यों के साथ फ्यूचर प्लानिंग पर होगी चर्चा

by Carbonmedia
()

केंद्रीय सहकारिता मंत्रायल की मीटिंग में हरियाणा से सहकारिता विभाग के केंद्रीय राज्य मंत्री कृष्ण पाल गुर्जर और सैनी कैबिनेट के सहकारिता मंत्री अरविंद शर्मा शामिल होने के लिए दिल्ली पहुंचे हैं। मीटिंग की अध्यक्षता केंद्रीय मंत्री अमित शाह कर रहे हैं। इस मीटिंग में दूसरे राज्यों से भी सहकारिता मंत्री पहुंचे हैं। मीटिंग में सहकारी क्षेत्र की योजनाओं की समीक्षा की जाएगी। साथ ही विभाग की प्रगति को लेकर राज्यों के साथ शाह विचारों का आदान-प्रदान करेंगे। इसके अलावा फ्यूचर की योजनाओं को लेकर भी मंथन होगा। मीटिंग से पहले पौध रोपण किया हरियाणा के सहकारिता मंत्री अरविंद शर्मा ने मीटिंग में शामिल होने से पहले हरियाणा भवन में अधिकारियों के साथ चर्चा की। इसके बाद उन्होंने हरियाणा भवन के परिसर में पौध रोपण भी किया। उन्होंने इस दौरान कहा कि सहकारिता का क्षेत्र ग्रामीण आबादी के लिए रीढ़ जैसा काम करता है। केंद्र सरकार सहकारिता के जरिए ही किसानों और ग्रामीण क्षेत्रों के विकास पर फोकस कर रही है। आज की मीटिंग में हरियाणा में अभी तक किए सहकारिता के क्षेत्र में किए गए कामों की जानकारी दी जाएगी। साथ ही भविष्य की योजनाओं पर मंथन होगा। मीटिंग में किन मुद्दों पर हो रही चर्चा… 1. दो लाख पैक्स पर हो रही चर्चा सहकारिता मंत्रालय की मीटिंग में 2 लाख नई बहुउद्देशीय प्राथमिक कृषि ऋण समितियों (PACS), डेयरी और मत्स्य सहकारी समितियों की स्थापना जैसे प्रमुख विषयों पर चर्चा की जा रही, जो ग्रामीण सेवा वितरण को अंतिम छोर तक पहुंचाने के लिए अहम है। 2. अन्न भंडारण पर भी चर्चा मीटिंग में सहकारी क्षेत्र में ‘विश्व की सबसे बड़ी अन्न भंडारण योजना’ पर भी विचार-विमर्श किया किया जाएगा, जिसका उद्देश्य खाद्य सुरक्षा को मजबूत करना और किसानों को सशक्त बनाना है। इसके साथ ही, ‘सहकारिता में सहकार’ अभियान और ‘अंतरराष्ट्रीय सहकारिता वर्ष 2025’ के अंतर्गत राज्यों की प्रगति और सहभागिता पर भी चर्चा होगी। 3. अब तक के कामों पर होगा रिव्यू मीटिंग का मुख्य उद्देश्य सहकारिता मंत्रालय की अब तक की पहलों और योजनाओं की समग्र समीक्षा करना, अब तक हुई प्रगति का मूल्यांकन करना और राज्यों, केंद्र शासित प्रदेशों से अनुभवों, श्रेष्ठ प्रक्रियाओं और रचनात्मक सुझावों का आदान-प्रदान सुनिश्चित करना है। यह बैठक ‘सहकार से समृद्धि’ के दृष्टिकोण को सामूहिक प्रयासों के माध्यम से आगे बढ़ाने के लिए साझा समझ और समन्वित रणनीति विकसित करने की दिशा में कार्य करेगी। 4. सहकारी संस्थाओं के कामों का रिव्यू होगा ​​​​​​​तीन नई बहु-राज्यीय राष्ट्रीय सहकारी संस्थाओं, राष्ट्रीय सहकारी निर्यात लिमिटेड (NCEL), राष्ट्रीय सहकारी ऑर्गेनिक्स लिमिटेड (NCOL) और भारतीय बीज सहकारी समिति लिमिटेड (BBSSL) में राज्यों की भागीदारी की समीक्षा की मीटिंग में की जाएगी। साथ ही श्वेत क्रांति 2.0 और भारत के डेयरी क्षेत्र में सर्कुलरिटी एवं सस्टेनेबिलिटी की अवधारणाओं को अपनाने तथा आत्मनिर्भरता अभियान के अंतर्गत दलहन व मक्का उत्पादक किसानों के लिए समर्थन मूल्य पर चर्चा होगी।

How useful was this post?

Click on a star to rate it!

Average rating / 5. Vote count:

No votes so far! Be the first to rate this post.

Related Articles

Leave a Comment