अंबाला में गिरफ्तार हुई पूर्व सरपंच को मिली जमानत:बोलीं- लड़ाई रहेगी जारी, प्रशासन ने मेरी नहीं गांव की आवाज को दबाया है

by Carbonmedia
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हरियाणा के अंबाला में आत्मदाह की कोशिश कर रही महिला सरपंच को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया था। जिसके बाद कल देर शाम उसे जमानत मिल गई। जमानत मिलने के बाद वह वापस अपने घर गई।
वहीं, जमानत मिलने के बाद माजरा गांव की पूर्व सरपंच नेहा शर्मा ने कहा कि मेरी लड़ाई अभी खत्म नहीं हुई है। मेरी लड़ाई इसी तरह जारी रहेगी। जब तक प्रशासन मेरी और गांव वालों की नहीं सुनेगा तब तक यह लड़ाई जारी रहेगी। बोली- मेरी नहीं गांव की आवाज़ दबाई पूर्व महिला सरपंच ने कहा कि प्रशासन ने मुझे गिरफ्तार कर सिर्फ मेरी ही नहीं बल्कि पूरे माजरा गांव की आवाज को दवाया है। उन्होंने कहा कि जब तक प्रशासन गांव से कब्जे को नहीं हटाएगा मैं प्रदर्शन करती रहुंगी। चाहें मुझ पर कोई पद रहे या न रहे। यह था पूरा मामला 24 जून को कब्जा हटवाने पहुंचा था प्रशासन: माजरा गांव की महिला सरपंच नेहा शर्मा ने कहा कि पंचायत की जमीन पर कुछ लोगों ने कब्जा किया हुआ है। पंचायत ने रेजोल्यूशन पास किया कि इनसे कब्जा खाली कराया जाएगा। हमने इसे लेकर प्रशासन को लेटर लिखे थे। 24 जून को कब्जा खाली कराने के लिए ड्यूटी मजिस्ट्रेट की नियुक्त की गई। इसके बाद पुलिस फोर्स के साथ अधिकारी माजरा गांव पहुंचे, लेकिन कब्जा खाली करवाए बगैर लौट गए। मैं बदनामी सहन नहीं कर पा रही: नेहा शर्मा ने 26 जून को प्रशासन को एक एफिडेविट दिया। उन्होंने कहा कि कब्जाधारियों के पास कोई भी कोर्ट के स्टे का ऑर्डर नहीं था। फिर भी प्रशासन ने कब्जा नहीं हटवाया। इस बदनामी को मैं सहन नहीं कर पा रही हूं। इसलिए 2 जुलाई को शहजादपुर की त्रिवेणी चौक पर आत्मदाह कर लूंगी। इसका जिम्मेदार प्रशासन होगा। BDPO ने DC को पत्र लिखकर जानकारी दी शहजादपुर के खंड विकास एवं पंचायत अधिकारी (BDPO) ने 27 जून को DC को एक पत्र लिखा था। इस पत्र में उन्होंने बताया कि नेहा शर्मा नाम की एक महिला ने शपथ पत्र देकर चेतावनी दी है कि यदि प्रशासन 2 जुलाई से पहले अवैध रूप से बने दो खोखों को नहीं हटाता है, तो वह 2 जुलाई को सुबह 11 बजे त्रिवेणी चौक, शहजादपुर में आत्मदाह कर लेंगी। DC बोले- प्रशासन पर दबाव बनाने की कोशिश की DC अजय तोमर ने बताया कि सरपंच जैसे संवैधानिक पद पर होते हुए इस तरह शपथ पत्र देकर धमकी देना नियमों के खिलाफ है। उन्होंने प्रशासनिक तरीके से मामले को सुलझाने की बजाय प्रशासन पर अनावश्यक दबाव बनाने की कोशिश की है। इसलिए, 1 जुलाई को हरियाणा पंचायती राज अधिनियम, 1994 की धारा 51(1)(बी) के तहत नेहा शर्मा को तत्काल प्रभाव से सरपंच पद से निलंबित कर दिया गया है। साथ ही, एक्ट की धारा 51(2) के तहत उन्हें ग्राम पंचायत की किसी भी कार्यवाही या बैठक में भाग लेने से भी रोक दिया गया है।

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