पीपुल्स कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष सज्जाद गनी लोन ने दावा किया कि हाल ही में गठित पीपुल्स अलायंस फॉर चेंज (पीएसी) से जुड़े कई नेताओं की सुरक्षा वापस ले ली गई है. रविवार (6 जुलाई) को उन्होंने इस कदम को राजनीति से प्रेरित बताया. सज्जाद ने कहा कि सुरक्षा वापस लेने का फैसला जनता की आलोचना और धमकियों से जुड़ा हुआ है.
‘पूर्व मंत्री हकीम यासीन की सुरक्षा में कमी’
श्रीनगर में अपने आवास पर संवाददाता सम्मेलन में सज्जाद लोन ने आरोप लगाया कि पूर्व मंत्री हकीम यासीन और राजनेता शेख इमरान जैसे नेताओं की सुरक्षा में काफी कमी की गई है. उन्होंने कहा कि यह कमी लंबे समय से जोखिम में रहने के बावजूद की गई है. उन्होंने कहा कि यासीन 90 के दशक में एक लक्षित हमले में बच गए थे.
‘जनता के लिए यह समझना महत्वपूर्ण है कि…’
लोन ने अपनी टिप्पणी को शिकायत या मांग के रूप में नहीं पेश किया. लेकिन कहा कि जनता के लिए यह समझना महत्वपूर्ण है कि सुरक्षा से जुड़े फैसले कैसे लिए जा रहे हैं. उन्होंने कहा कि मुद्दा व्यक्तिगत अधिकार का नहीं बल्कि खतरे के आकलन के पीछे के सिद्धांतों का है. उन्होंने कहा कि पार्टी लाइनों के आधार पर असामान्य रूप से सुरक्षा आवंटित किए जाने का इतिहास रहा है.
सज्जाद लोन ने अपने पिता का जिक्र किया. उनके अनुसार, उस समय खुफिया एजेंसियों को पहले से जानकारी थी, लेकिन उन्होंने कार्रवाई नहीं करने का फैसला किया. उन्होंने कहा कि इस तरह के फैसले इस बात को दर्शाते हैं कि कैसे सुरक्षा कभी-कभी राजनीति का एक टूल बन जाती है.
‘जो दशकों से इस क्षेत्र पर शासन कर रहे थे वो अब…’
लोन ने एक क्षेत्रीय राजनीतिक मंच के साथ अपनी पार्टी के गठबंधन के बारे में बात की. उन्होंने कहा कि जो लोग दशकों से इस क्षेत्र पर शासन कर रहे थे, वे अब राजनीतिक प्रतिस्पर्धा से असहज लग रहे हैं और पुरानी रणनीति पर लौट रहे हैं. उन्होंने कहा कि प्रेस कॉन्फ्रेंस का उद्देश्य वर्तमान स्थिति को पारदर्शी बनाना था, न कि राज्य के निर्णयों को प्रभावित करना.आसिफ
सज्जाद लोन का बड़ा दावा, ‘पीपुल्स अलायंस फॉर चेंज से जुड़े कई नेताओं की सुरक्षा…’
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