हरियाणा में एक और भर्ती परीक्षा में हरियाणा लोक सेवा आयोग (HPSC) पर गंभीर सवाल खड़े हो गए हैं। जूलोजी विषय के नेट क्वालिफाइड और पीएचडी धारक उम्मीदवारों ने HPSC द्वारा जारी फाइनल आंसर की को लेकर गंभीर आपत्तियां दर्ज की हैं। HPSC द्वारा हरियाणा में 4 मई 2025 को स्क्रीनिंग टेस्ट लिया गया था। जब इसकी फाइनल आंसर की जारी हुई तो उम्मीदवारों ने 15 सवालों के आंसर गलत बताते हुए इस पर सवाल खड़ा कर दिया है। पूरे मामले को कांग्रेस नेता व सामाजिक कार्यकर्ता श्वेता ढुल ने सोशल मीडिया पर उठाया है।
क्या है मामला
उम्मीदवारों ने HPSC की उत्तर कुंजी में कम से कम 15 सवालों में गड़बड़ियां पाई हैं। युवाओं के द्वारा सवालों में किस प्रकार गड़बड़ी है। इन सब में से केवल 1 प्रश्न ही आयोग ने ठीक किया, बाकी सभी पर या तो गलतियां बनी रहीं या बिना कारण बताए डिलीट कर दिए गए।
• ग़लत उत्तर
• एक से अधिक वैज्ञानिक रूप से सही उत्तर
• सवालों का अधूरा या भ्रमित करने वाला फ्रेमिंग जैसी गंभीर खामियां हैं। उम्मीदवारों की मांगें क्या हैं?
उम्मीदवारों ने आयोग को कई ईमेल और 30 जून 2025 को लिखित आवेदन भेजकर मांग उठाई है कि विवादित सवालों की दोबारा जांच की जाए, वैज्ञानिक प्रमाणों और तर्कों के आधार पर। जूलोजी के विशेषज्ञों की स्वतंत्र कमेटी बनाई जाए जो उत्तर कुंजी की समीक्षा करें। पूरी प्रक्रिया को मैरिट बेस्ड और पारदर्शी बनाया जाए ताकि मेहनती उम्मीदवारों को न्याय मिल सके। ये बोली श्वेता ढुल
कांग्रेस नेत्री ने कहा कि यह केवल एक परीक्षा की बात नहीं है। अगर ऐसे सवालों की सही जांच नहीं होती तो न सिर्फ योग्य उम्मीदवारों का हक मारा जाएगा, बल्कि परीक्षा की पूरी पारदर्शिता और विश्वसनीयता पर सवाल उठते हैं। HPSC इस मुद्दे को गंभीरता से लेना चाहिए। उन्होंने कहा कि विवादित प्रश्नों की वैज्ञानिक समीक्षा करवाए। संशोधित परिणाम जारी करें और योग्य उम्मीदवारों के साथ न्याय करें।
HPSC की असिस्टेंट प्रोफेसर जूलोजी भर्ती सवालों में गड़बड़ी:श्वेता ढुल ने उठाए सवाल, 4 मई को हुआ था स्क्रीनिंग टेस्ट, जांच को लिखा पत्र
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