पंजाब के लुधियाना में एक प्रोफेसर को साइबर ठगों ने 14 दिन तक डिजिटल अरेस्ट कर लिया। बदमाशों ने खुद को CBI अफसर और IPS अफसर बताकर 20 लाख रुपए की उससे ठगी की है। साइबर ठगों ने उसे वीडियो कॉल पर ह्यूमन ट्रैफिकिंग केस में फंसाने की धमकी देकर पैसे वसूले है। इस केस में थाना साइबर सेल की पुलिस जांच कर रही है। पुलिस का दावा है कि जल्द ठगों को पकड़ लिया जाएगा। गड़वासू यूनिवर्सिटी में पढ़ाते है प्रोफेसर जानकारी मुताबिक गुरु अंगद देव वेटरनरी एंड एनिमल साइंस यूनिवर्सिटी (गड़वासू) के प्रोफेसर डॉ. दलपत सिंह के साथ ये ठगी हुई है जो पीएयू कैंपस में रहते हैं। इस बारे में थाना साइबर सेल के एसएचओ सतवीर सिंह ने बताया कि मामले में केस दर्ज कर जांच शुरू कर दी गई है। डॉ. दलपत सिंह को 2 जुलाई को एक कॉल आई। कॉलर ने खुद को सीबीआई अफसर बताया और फिर वीडियो कॉल पर एक फर्जी पहचान दिखाकर उन्हें कहा कि वह ह्यूमन ट्रैफिकिंग केस में फंस चुके हैं। धमकाते हुए बदमाशों ने उनसे पत्नी के साथ जॉइंट अकाउंट से 10 लाख रुपए आरटीजीएस से ट्रांसफर करवाए। 15 जुलाई को IPS अधिकारी बनकर की काल इसके बाद 15 जुलाई को एक और वीडियो कॉल आई, जिसमें खुद को IPS बताने वाले शख्स ने 10 लाख रुपए और मांगे। इस बार प्रोफेसर ने बैंक ऑफ बड़ौदा से लोन लेकर रकम ठगों के अकाउंट में ट्रांसफर कर दी। पीड़ित ने पुलिस को बताया कि 2 से 15 जुलाई तक वह डिजिटल अरेस्ट में रहे। वह ऑनलाइन माध्यम से छात्रों को पढ़ा रहे थे ताकि किसी को शक न हो। साइबर ठग उन्हें डराते रहे कि यदि उन्होंने किसी के साथ ये बात साझा की तो वह उन्हें जेल भेज देंगे। पत्नी के जॉइंट अकाउंट के ट्रांजैक्शन का एसएमएस अलर्ट आने पर हुआ खुलासा
इस पूरे मामले का खुलासा तब हुआ जब प्रोफेसर की पत्नी को जॉइंट अकाउंट से ट्रांजैक्शन का एसएमएस अलर्ट आया। उसने तुरंत पति से बात की और पूरे मामले की जानकारी ली। इसके बाद दोनों साइबर सेल थाना पहुंचे और शिकायत दर्ज करवाई। पुलिस ने केस दर्ज कर साइबर ठगों की पहचान और तकनीकी जांच शुरू कर दी है। जिस बैंक के खातों में रुपए ट्रांसफर हुए है उनकी डिटेल भी खंगाली जा रही है।
लुधियाना में 14 दिन डिजिटल अरेस्ट रहा प्रोफेसर:गड़वासू यूनिवर्सिटी में है पढ़ाता,साइबर ठगों ने ठगे 20 लाख, खुद को बताया CBI अफसर
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