1 अगस्त से लागू होंगे UPI के नए नियम:एक दिन में 50 से ज्यादा बार बैलेंस चेक नहीं करेंगे, ऑटोपे का समय बदलेगा

by Carbonmedia
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अगर आप यूनिफाइड पेमेंट इंटरफेस यानी UPI ऐप से बार बार बैलेंस चेक करते हैं तो 1 अगस्त से ऐसा करने में आपको परेशानी हो सकती है। 1 अगस्त से आप एक दिन में 50 बार से ज्यादा बार UPI ऐप के जरिए बैलेंस चेक नहीं कर सकेंगे। ये बदलाव यूजर्स, बैंकों और मर्चेंट्स, सभी के लिए हैं। यहां सवाल-जवाब के जरिए समझते हैं कि क्या बदल रहा है और इसका आप पर क्या असर होगा… सवाल 1: UPI में कौन-कौन से नए नियम लागू हो रहे हैं? जवाब: 1 अगस्त से UPI में कई बदलाव आ रहे हैं। सबसे बड़े बदलाव हैं: सवाल 2: ये बदलाव क्यों किए जा रहे हैं? जवाब: NPCI का कहना है कि UPI सिस्टम पर बहुत ज्यादा लोड पड़ रहा है, खासकर पीक ऑवर्स (सुबह 10 से दोपहर 1 बजे और शाम 5 से रात 9:30 बजे) में। बार-बार बैलेंस चेक करना या ट्रांजैक्शन स्टेटस चेक करने से सिस्टम स्लो हो जाता है। हाल में अप्रैल और मार्च 2025 में UPI में दो बड़े आउटेज (सिस्टम डाउन होने की घटनाएं) हुए, जिससे करोड़ों यूजर्स को परेशानी हुई। इन बदलावों से सिस्टम को तेज, भरोसेमंद और बिना रुकावट वाला बनाने की कोशिश है। सवाल 3: ऑटोपे के लिए तय समय स्लॉट्स क्या हैं? जवाब: ऑटोपे ट्रांजैक्शंस (जैसे नेटफ्लिक्स सब्सक्रिप्शन, मोबाइल रिचार्ज, या EMI) अब नॉन-पीक ऑवर्स में प्रोसेस होंगे। ये समय हैं: इससे सिस्टम पर लोड कम होगा और ट्रांजैक्शंस तेजी से पूरी होंगी। सवाल 4: क्या ये बदलाव सभी UPI यूजर्स पर लागू होंगे? जवाब: हां, ये नियम सभी UPI यूजर्स पर लागू होंगे, चाहे आप PhonePe, Google Pay, Paytm, या कोई और UPI ऐप इस्तेमाल करते हों। लेकिन अगर आप बार-बार बैलेंस चेक नहीं करते या ट्रांजैक्शन स्टेटस रिफ्रेश नहीं करते, तो आपको ज्यादा फर्क नहीं पड़ेगा। सवाल 5: आम यूजर्स पर इसका क्या असर होगा? जवाब: आम यूजर्स के लिए ज्यादा कुछ नहीं बदलेगा। आपका रोज का पेमेंट, बिल पेमेंट, या मनी ट्रांसफर उसी तरह काम करेगा। बस अगर आप दिन में 50 बार से ज्यादा बैलेंस चेक करते हैं, तो लिमिट क्रॉस होने पर आपको रुकना पड़ेगा। ऑटोपे पेमेंट्स अपने आप तय समय पर हो जाएंगे, तो आपको कुछ करने की जरूरत नहीं। सवाल 6: क्या UPI ट्रांजैक्शन की रकम की लिमिट में कोई बदलाव है? जवाब: नहीं, ट्रांजैक्शन की रकम की लिमिट वही रहेगी। ज्यादातर ट्रांजैक्शंस के लिए 1 लाख रुपये प्रति ट्रांजैक्शन और हेल्थकेयर या एजुकेशन से जुड़े पेमेंट्स के लिए 5 लाख रुपये तक की लिमिट है। इन बदलावों का उससे कोई लेना-देना नहीं है। सवाल 7: यूजर्स को कुछ करना होगा?
जवाब: नहीं, आपको कुछ नहीं करना। ये बदलाव आपके UPI ऐप्स में अपने आप लागू हो जाएंगे। बस इतना ध्यान रखें कि बैलेंस चेक करने या लिंक्ड अकाउंट्स देखने की लिमिट का ख्याल रखें, ताकि आपको कोई दिक्कत न हो।

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