CDS अनिल चौहान के बयान पर खरगे ने मोदी सरकार को घेरा, निशिकांत दुबे बोले- ‘चोर चोरी से जाए, लेकिन…’

by Carbonmedia
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Nishikant Dubey on Mallikarjun Kharge: सिंगापुर में शांगरी-ला डायलॉग में सीडीएस जनरल अनिल चौहान के बयान को लेकर विपक्षी पार्टी केंद्र सरकार पर हमलावर है. कांग्रेस ने सरकार से भारत-पाकिस्तान के बीच सीजफायर से संबंधी जानकारी साझा करने की मांग की है.


सीडीएस अनिल चौहान के बयान का जिक्र कर कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर पोस्ट कर सरकार के सीजफायर के फैसले पर सवालिया निशान लगा दिया है. इस मामले पर भाजपा सांसद डॉ. निशिकांत दुबे ने प्रतिक्रिया देते हुए मल्लिकार्जुन खरगे समेत विपक्षी पार्टियों पर पलटवार किया है.


निशिकांत दुबे ने मल्लिकार्जुन खरगे पर साधा निशाना


भाजपा सांसद ने इसे लेकर सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर पोस्ट किया. अपने पोस्ट में निशिकांत दुबे ने पूर्व रक्षा मंत्री वाई. बी. चह्वान के हाथ से लिखी एक चिट्ठी की तस्वीर को साझा किया है. इसके साथ उन्होंने उन सैन्य कार्रवाईयों की जानकारी साझा की, जिसकी आधिकारिक रूप से जानकारी सार्वजनिक नहीं की गई.



चोर चोरी से जाए लेकिन तुम्बाफेरी से ना जाए
कांग्रेस पार्टी के सहारे विदेशी ताक़त अपने भारत को कमज़ोर करना चाहती है ।कॉग्रेस पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष खरगे साहब यह 1965 के भारत पाकिस्तान के युद्ध के दौरान रक्षा मंत्री रहे श्री चह्वान साहब का हाथ से लिखा नोट है,यही दस्तावेज… pic.twitter.com/aUjVTKs2IM


— Dr Nishikant Dubey (@nishikant_dubey) May 31, 2025




भाजपा सांसद ने कांग्रेस सांसद मल्लिकार्जुन खरगे पर निशाना साधते हुए अपने पोस्ट में कहा, “चोर चोरी से जाए लेकिन तुम्बाफेरी से ना जाए.” उन्होंने कहा, “कांग्रेस पार्टी के सहारे विदेशी ताकत अपने भारत को कमजोर करना चाहती है. कांग्रेस पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष खरगे साहब यह 1965 के भारत-पाकिस्तान के युद्ध के दौरान रक्षा मंत्री रहे चह्वान साहब का हाथ से लिखा नोट है. यही दस्तावेज आपको बता देगा कि युद्ध के समय या उसके बाद भारतीय सेना के किसी भी नीति का खुलासा भारत सरकार कभी नहीं करती है.”


निशिकांत दुबे ने अपने पोस्ट में इंदिरा गांधी का किया जिक्र


निशिकांत दुबे ने पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी का जिक्र करते हुए कहा, “1966 व 1971 में इंदिरा गांधी ने यही संसद में कहा था. इसलिए आजतक 1962, 1965, 1971, 1947-48, 1999 युद्ध और भारत के श्रीलंका, मालदीव या ऑपरेशन ब्लू स्टार के दस्तावेज सरकार ने सार्वजनिक नहीं किया है.” उन्होंने कहा कि मोदी विरोध में देश बेचना कोई कांग्रेस से सीखे.

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