Uttarkashi Cloud Burst: उत्तरकाशी के धराली बादल फटने से मची तबाही के बाद अब तक क्या-क्या हुआ? जानें- एक-एक जानकारी

by Carbonmedia
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उत्तरकाशी में धराली गांव में मंगलवार को बादल फटने से खीर गंगा नदी आए सैलाब में अब तक चार लोगों की मौत हो चुकी है और 50 लोग लापता है, जबकि 138 से अधिक लोगों को बचा लिया गया. प्रशासन की ओर से लगातार रेस्क्यू ऑपरेशन किया जा रहा है. मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी आज सुबह उत्तरकाशी पहुंच गए और राहत कार्यों का जायजा लिया.
सीएम धामी ने कहा कि उत्तरकाशी में तबाही के बाद राहत एवं बचाव कार्य युद्ध स्तर पर किया जा रहा है. प्रभावितों को शीघ्र एवं समुचित सहायता पहुंचाने की कोशिश की जा रही है. सैलाब की वजह से कई इलाकों का संपर्क टूट गया है. वहीं बिजली व्यवस्था भी बाधित हो गई है, जिसमें बहाल करने की कोशिश की जा रही है. पीएम मोदी ने भी राज्य की पूरी सहायता करने का आश्वासन जिया है.
वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों की टीम तैनात
आपदा राहत कार्य के लिए वरिष्ठ पुलिस अधिकारी और विशेष पुलिस बल की तैनाती की गई है. इनमें दो आईजी, तीन एसपी, एक कमांडेंट, 11 डिप्टी एसपी सहित 300 पुलिस कर्मियों को रवाना किया गया. NDRF, SDRF, ITBP और भारतीय सेना के द्वारा लगातार रेस्क्यू ऑपरेशन चलाया जा रहा है. राहत कार्य के लिए सेना के हेलीकॉप्टर लगाए गए. 
युद्ध स्तर पर राहत एवं बचाव कार्य 
उत्तरकाशी में आई तबाही के बाद युद्ध स्तर पर राहत एवं बचाव कार्य किया जा रहा है. एसडीआरएफ और एनडीआरफ की टीमें लगातार मलबा हटाने का काम कर रही है और लोगों की तलाश की जा रही है. वहीं नदी के आसपास रहने वाले लोगों को हटा दिया गया है. लोगों को सतर्क रहने और सुरक्षित स्थानों पर जाने के निर्देश दिए गए हैं.  
खराब मौसम बना रेस्क्यू ऑपरेशन की चुनौती
उत्तराखंड में लगातार बारिश हो रही है. जिसकी वजह से हेलीकॉप्टर के उड़ान भरने में भी कई चुनौतियां पेश आ रही है. उत्तरकाशी के सूखी टॉप और हर्षिल में भी बादल फटा है, जिसमें दो जवान समेत 130 से ज्यादा लोगों का रेस्क्यू किया गया है. 9 जवान अभी भी लापता बताए जा रहे हैं. बुधवार को भी मौसम से ज्यादा राहत मिलने की संभावना नहीं है. मौसम विभाग ने नैनीताल, चंपावत, उधम सिंह नगर, बागेश्वर, पौड़ी, टिहरी, हरिद्वार और देहरादून समेत सात जिलों में भारी बारिश का ‘ऑरेंज अलर्ट’ जारी किया है.  
धराली में बादल फटने से मची तबाही
मंगलवार दोपहर करीब 1.45 बजे धराली में बादल फटने से पानी का ऐसा सैलाब आया है कि 34 सेकेंड के भीतर पूरा धराली तबाह हो गया. स्थानीय लोगों का कहना है कि बादल फटने के बाद खीर गंगा में पानी और मलबे का सैलाब आया जिसने लोगों को संभलने तक का मौका नहीं मिला. स्थानीय निवासी राजेश पंवार ने कहा कि मलबे में 10 से 12 लोग दबे हो सकते हैं. सैलाब में 20 से 25 होटल और होमस्टे बह जाने की आशंका है. 
धराली गांव गंगोत्री धाम से करीब 20 किलोमीटर पहले पड़ता है और ये यात्रा का प्रमुख पड़ाव है. इस बाढ़ में कई मकान और होटल तबाह हो गए. आपदा में यहां के बाजार का बड़ा हिस्सा सैलाब के साथ बह गया. ख़राब मौसम की वजह से राहत कार्य में दिक्कतें हो रही है. जगह-जगह भूस्खलन होने और रास्ता टूटने की वजह से बचाव टीमों को भी मौके पर पहुंचने में बाधा आ रही है. 
धराली में आई तबाही कितनी भयानक थी इसका अंदाजा वहां से आए वीडियो को देखकर ही लगाया जा सकता है. इस दर्दनाक हादसे के कई वीडियो सोशल मीडिया पर भी वायरल हैं जिसमें लोगों को डर के मारे चीखते-चिल्लाते हुए सुना जा सकता है जबकि एक अन्य वीडियो में एक आवाज सुनाई दे रही है कि सब कुछ खत्म हो गया है.
शव खोजी कुत्तों को भेजा गया
आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि एडीआरएफ ने उत्तराखंड में बादल फटने की घटना में मारे गए लोगों का पता लगाने में मदद के लिए शव खोजी कुत्तों की अपनी पहली टीम तैनात करने का फैसला किया है. इन कुत्तों के एक जोड़े को दिल्ली से हवाई मार्ग से लाया जाएगा जबकि राज्य के विभिन्न स्थानों से बल की तीन टीम घटनास्थल पर पहुंच गई हैं.

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